रिपोर्टर- सुनील सोनकर
मसूरी में मंगलवार को पूर्व मुख्यमंत्री हरीश रावत ने शहीदों को श्रद्धांजलि अर्पित की और आंदोलनकारियों व शहीद परिवारों को शॉल व फूलमाला पहनाकर सम्मानित किया।कार्यक्रम में हरीश रावत ने कहा कि इन्हीं शहीदों की कुर्बानी से उत्तराखंड का निर्माण हुआ, अब जरूरत है राज्य की दिशा तय करने की। उन्होंने कहा कि भाजपा सरकार विकास के नाम पर जमीनें बेच रही है, जिससे “जब जमीन नहीं बचेगी, तो जंगल और संस्कृति कैसे बचेगी?”
रावत ने भाजपा सरकार पर आरोप लगाते हुए कहा कि उनकी (कांग्रेस) सरकार की योजनाओं को डंप कर दिया गया। “हमने उत्तराखंड के लिए नया मॉडल बनाया था, लेकिन भाजपा ने उसे ठंडे बस्ते में डाल दिया,” उन्होंने कहा। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के हालिया दौरे पर रावत ने कहा कि प्रधानमंत्री ने गढ़वाली-कुमाऊं बोली बोलकर और उत्तराखंड के उत्पादों का प्रचार कर अच्छा काम किया, पर पलायन, बेरोजगारी, राजधानी और पुनर्वास जैसे बुनियादी सवालों पर मौन रहे।
उन्होंने कहा कि औद्योगिक पैकेज खत्म होने से उद्योग राज्य से भाग रहे हैं, जिससे रोजगार संकट बढ़ा है। वहीं, धामी सरकार पर तंज कसते हुए बोले कृ “प्रधानमंत्री का दौरा दरअसल धामी सरकार की डेंटिंग-पेंटिंग था।दिल्ली धमाके पर रावत ने गहरी संवेदना व्यक्त की और कहा कि देश को अब एकजुट होकर ऐसी घटनाओं पर ठोस कदम उठाने होंगे।अंत में उन्होंने कहा कि 2027 परिवर्तन का वर्ष होगा, और जनता इस बार “परिवर्तन कांग्रेस के पक्ष में लाएगी।



